छत्तीसगढ़शिक्षा

इस जिले के कलेक्टर का निर्देश-सभी गर्ल्स हॉस्टल में तैनात होंगी महिला होमगार्ड,अधीक्षक से लेकर चपरासी तक होंगी महिलाएं…आइए जानते हैं कहां का है पूरा मामला…पढ़े न्यूज़ मिर्ची-24

रायगढ़।छत्तीसगढ़ के जशपुर स्थित दिव्यांग केंद्र में मूक-बधिर बच्चियों के यौन उत्पीड़न और दुष्कर्म की घटना के बाद अब जिला प्रशासन जागा है। जिले के सभी गर्ल्स हॉस्टल और आश्रम की सुरक्षा के लिए महिला होमगार्ड नियुक्त करने के आदेश दिए गए हैं। जिला कलेक्टर ने यह भी निर्देश दिया है कि हॉस्टल अधीक्षक से लेकर चपरासी तक सभी कर्मचारी महिलाएं ही होंगी। हॉस्टल की निगरानी के लिए व्हॉट्सऐप ग्रुप बनाया जाएगा। हालाकि इस निर्देश एवं बैठक के बाद कलेक्टर एम डी कावरे को हटाने का आदेश आ गया।

कलेक्टर महादेव कावरे ने सोमवार को अलग-अलग विभागों के अफसरों की बैठक ली थी। इसके बाद आदेश जारी किए गए हैं। कलेक्टर ने छात्रावास-आश्रमों पर विशेष निगरानी रखने के साथ ही उनके निरीक्षण के लिए अफसरों की ड्यूटी लगाने के निर्देश दिए हैं। साथ ही सभी कन्या छात्रावासों में अधीक्षक, रसोइया, चपरासी और स्वीपर महिला कर्मचारी होंगे। चरित्र सत्यापन के बाद ही नियुक्ति मिलेगी। बाहर बोर्ड पर नियम और निर्देश लगाने के भी निर्देश दिए हैं।

पुरुषों के प्रवेश पर प्रतिबंध, उल्लंघन पर दर्ज होगी FIR
कन्या छात्रावासों में पुरुषों के प्रवेश पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया गया है। अधीक्षिका भी अपने छोटे बच्चों को छोड़कर परिवार के किसी भी पुरुष सदस्य को वहां नहीं रख सकेंगी। उन्हें अनिवार्य रूप से हॉस्टल में रहना होगा। पति भी हॉस्टल में प्रवेश नहीं कर सकेंगे। जनप्रतिनिधि, अधिकारियों को अधीक्षिका से अनुमति लेनी होगी। शाम 5 बजे के बाद किसी का भी प्रवेश प्रतिबंधित रहेगा। नियमों का उल्लंघन करने पर FIR और निलंबन होगा।

पढ़ाई के स्तर को लेकर शिक्षा विभाग करेगा निगरानी
कलेक्टर ने हॉस्टल और आश्रमों में पढ़ाई के स्तर को लेकर शिक्षा विभाग को निगरानी के निर्देश दिए हैं। वह बीच-बीच में बच्चों से इसकी जानकारी लेंगे। जिला स्तर पर आश्रमों-छात्रावासों में निगरानी रखने के लिए महिला अधिकारियों की टीम गठित की गई है। गड़बड़ी मिलने पर संबंधित व्यक्तियों पर FIR के साथ सख्त कार्यवाही की जाएगी। सुरक्षा के लिए CCTV कैमरे लगेंगे। आने-जाने वालों की रजिस्टर में एंट्री की जाएगी।

आयोग ने पीड़ित बच्चों की काउंसलिंग के निर्देश दिए
इस मामले में बाल संरक्षण आयोग ने जिला कलेक्टर से विस्तृत रिपोर्ट तलब की है। इस संबंध में आयोग की अध्यक्ष तेजकुंवर नेताम ने फोन पर कलेक्टर से बात की। उन्होंने पीड़ित बच्चों की काउंसलिंग कराने के भी निर्देश दिए हैं। साथ ही कहा है कि किसी भी हालत में पीड़ित बालिका या संस्था की पहचान उजागर न हो। उन्होंने मीडिया संस्थानों से इस प्रकार की घटनाओं में किसी भी स्थिति में स्थान, नाम या पहचान उजागर नहीं करने की अपील की है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!